नूह लाइल्स: टोक्यो के नए सितारे, इतिहास से बेखबर, फिर भी भविष्य के दावेदार

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नूह लाइल्स: एथलेटिक्स का नया चेहरा और उसैन बोल्ट का रिकॉर्ड तोड़ने की चुनौती

टोक्यो विश्व चैंपियनशिप में अपनी रफ्तार और करिश्माई व्यक्तित्व से धूम मचाने वाले अमेरिकी स्प्रिंटर नूह लाइल्स ने एथलेटिक्स की दुनिया में एक नया अध्याय लिखा है। 200 मीटर में लगातार चौथी बार विश्व चैंपियन बनने के बाद अब उनकी निगाहें उसेन बोल्ट के अभूतपूर्व विश्व रिकॉर्ड पर हैं। लेकिन लाइल्स की कहानी केवल रफ्तार की नहीं, बल्कि शोमैनशिप, व्यक्तिगत संघर्षों और खेल के इतिहास के प्रति एक दिलचस्प विरोधाभास की भी है।

नूह लाइल्स टोक्यो विश्व चैंपियनशिप में जश्न मनाते हुए

टोक्यो में लाइल्स का शानदार प्रदर्शन और अगली बड़ी चुनौती

28 वर्षीय नूह लाइल्स ने टोक्यो में अपनी धाक जमाई। 100 मीटर में कांस्य पदक जीतने के बाद, उन्होंने 200 मीटर में 19.52 सेकंड का समय निकालकर स्वर्ण पदक जीता – यह उनकी लगातार चौथी 200 मीटर विश्व चैंपियनशिप जीत थी, जो उन्हें उसैन बोल्ट के बराबर खड़ा करती है। इसके अलावा, उन्होंने 4×100 मीटर रिले में भी स्वर्ण पदक हासिल किया। इन जीतों के साथ, उनके पास अब कुल 10 विश्व चैंपियनशिप पदक हैं, जो उन्हें खेल के इतिहास के महानतम धावकों की सूची में शामिल करते हैं।

लेकिन लाइल्स यहीं रुकने वाले नहीं हैं। उनका अगला लक्ष्य साफ है: 200 मीटर में उसेन बोल्ट के 19.19 सेकंड के विश्व रिकॉर्ड को तोड़ना। उन्होंने इस चुनौती के लिए 2026 में विशेष रूप से डिज़ाइन की गई रेसों का प्रस्ताव रखा है। उनका मानना है कि विश्व चैंपियनशिप जैसे बड़े आयोजनों में कई राउंड होते हैं, जिससे एथलीट अपनी पूरी क्षमता से प्रदर्शन नहीं कर पाते। इसके बजाय, वह कम समय अंतराल में शीर्ष धावकों के साथ सीधी प्रतिस्पर्धा वाले दो या तीन इवेंट चाहते हैं, और इसके लिए लंदन, बीजिंग या टोक्यो जैसे तेज ट्रैक और अनुकूल मौसम को प्राथमिकता देंगे, ऊंचाई वाले ट्रैक को नहीं।

“अगला सीज़न बिना बड़े वैश्विक आयोजनों के होगा, बिना बड़े तनाव के: मैं स्वाभाविक रूप से आगे देखना चाहता हूँ। लेकिन वास्तव में, मेरे पास एक अधिक तात्कालिक लक्ष्य है। मैं बोल्ट के 19.19 सेकंड के विश्व रिकॉर्ड का पीछा करना चाहता हूँ।” – नूह लाइल्स

“पिएत्रो मेननिया? कौन?” – एक पीढ़ीगत अंतर

एक साक्षात्कार के दौरान लाइल्स से इटली के दिग्गज धावक पिएत्रो मेननिया के बारे में पूछा गया था, जिन्होंने 1979 में 200 मीटर में 19.72 सेकंड का विश्व रिकॉर्ड बनाया था, जो कई दशकों तक कायम रहा। लाइल्स का जवाब था, “कौन? मुझे माफ करना, मुझे नहीं पता वह कौन हैं।” यह एक ऐसा क्षण था जिसने खेल जगत में बहस छेड़ दी। कुछ लोगों ने इसे खेल के इतिहास के प्रति अज्ञानता बताया, जबकि अन्य ने इसे आधुनिक एथलीटों के वर्तमान पर अधिक ध्यान केंद्रित करने का प्रमाण माना। लाइल्स, जो खुद को एथलेटिक्स के इतिहास का उत्साही मानते हैं, खासकर अमेरिका के बाहर भी, इस दिग्गज को नहीं जानते थे, जो शायद इस बात का प्रतीक है कि वर्तमान की चमक में कभी-कभी अतीत की महानता धुंधला जाती है।

नूह लाइल्स 4x100 मीटर रिले जीत का जश्न मनाते हुए

एथलेटिक्स: रफ्तार या शो? लाइल्स का दर्शन

लाइल्स केवल एक धावक नहीं, बल्कि एक शोमैन भी हैं। दौड़ से पहले उनके ऊँचे हाथ, सुनहरी चोटियों वाले बाल और शेर की दहाड़ की नकल – यह सब उनके व्यक्तित्व का हिस्सा है। उनका सीधा-साधा मानना है कि एथलेटिक्स को सिर्फ प्रतिस्पर्धा नहीं, बल्कि मनोरंजन और एक शानदार शो भी होना चाहिए। भले ही कुछ लोगों को उनका यह रवैया पसंद न आए, लाइल्स इसे अपनी ऊर्जा बढ़ाने और दर्शकों को जोड़ने का तरीका मानते हैं। उनका मानना है कि खेल को नए प्रशंसकों को आकर्षित करने के लिए और भी अधिक मनोरंजक होने की आवश्यकता है। उनके पास अपनी प्रोडक्शन कंपनी के साथ कुछ नए प्रोजेक्ट भी हैं, जिनका विवरण उन्होंने अभी तक उजागर नहीं किया है।

व्यक्तिगत संघर्षों से प्रेरणा और मार्सेल जैकब्स के लिए सलाह

लाइल्स का जीवन हमेशा आसान नहीं रहा। अस्थमा, डिस्लेक्सिया, अटेंशन डेफिसिट हाइपरएक्टिविटी डिसऑर्डर (ADHD) और डिप्रेशन जैसे कई व्यक्तिगत संघर्षों से वह गुजरे हैं। 2021 के टोक्यो ओलंपिक के दौरान उन्हें मानसिक रूप से काफी कठिनाइयों का सामना करना पड़ा था। उन्होंने इन बाधाओं को अपनी माँ, केइशा, और सही लोगों की मदद से पार किया। आज, वह खुश हैं और अपने काम से प्यार करते हैं।

उन्होंने इटली के ओलंपिक चैंपियन मार्सेल जैकब्स के संन्यास लेने की अटकलों पर भी अपनी राय दी। लाइल्स जैकब्स से व्यक्तिगत रूप से बात करना चाहते हैं, उन्हें शांत रहने, चोटों का इलाज करने और फिर से प्रयास करने की सलाह देना चाहते हैं। उनका मानना है कि कभी-कभी यह केवल दौड़ने की तकनीक में छोटे बदलावों की बात होती है। यह दिखाता है कि कैसे शीर्ष एथलीट एक-दूसरे के संघर्षों को समझते हैं और समर्थन देने को तैयार रहते हैं।

नूह लाइल्स 200 मीटर फाइनल के बाद पोज देते हुए

रणनीति में माहिर: 200 मीटर की दौड़ का गणित

200 मीटर की दौड़ में लाइल्स की जीत हमेशा आत्मविश्वास से भरी होती है। उनकी रणनीति साफ है: शुरुआत भले ही उतनी दमदार न हो, लेकिन दौड़ के आखिरी तीसरे हिस्से में उनकी गति और सहनशक्ति उन्हें आगे बढ़ा देती है। 400 मीटर की ट्रेनिंग से विकसित की गई उनकी गति सहनशक्ति, प्रतिद्वंद्वियों को पछाड़ देती है। वह मानते हैं कि उनके प्रतिद्वंद्वी अक्सर उन्हें चुनौती देने के लिए शुरुआती मीटरों में अपनी सारी ऊर्जा लगा देते हैं, जिससे वे बाद में थक जाते हैं और “आत्महत्या” कर लेते हैं। लाइल्स अपनी चालों को बखूबी समझते हैं और जानते हैं कि कब अपनी पूरी ताकत दिखानी है।

निष्कर्ष: एथलेटिक्स का भविष्य

नूह लाइल्स आधुनिक एथलेटिक्स के एक प्रतीक हैं – एक अविश्वसनीय रूप से तेज धावक, एक मनोरंजनकर्ता, और एक ऐसे एथलीट जो अपनी मानवीय कमजोरियों को भी स्वीकार करते हैं। वह खेल के इतिहास से भले ही पूरी तरह वाकिफ न हों, लेकिन उनकी निगाहें भविष्य पर टिकी हैं, जहाँ वह खुद एक नया इतिहास रचने को तैयार हैं। वह न सिर्फ रिकॉर्ड तोड़ना चाहते हैं, बल्कि एथलेटिक्स को एक ऐसा शो भी बनाना चाहते हैं, जो दुनिया भर के लोगों को मोहित कर सके।