Connect with us

International

New Zealand Indians: न्यूजीलैंड में महिला पर घातक हमले के आरोप में भारतीय नागरिक को जेल, अदालत ने सुनाई उम्रकैद की सजा

Published

on


ऑकलैंड: न्यूजीलैंड में भारतीय मूल के 33 वर्षीय एक व्यक्ति को 19 साल से ज्यादा की कैद की सजा सुनाई गई है। यह व्‍यक्ति डाउन सिन्ड्रॉम से पीड़ित एक महिला के यौन उत्पीड़न और घातक रूप से उसका गला दबाने का आरोपी है। एनजेड हेराल्ड की रिपोर्ट के अनुसार, शामल शर्मा को इस सप्ताह ऑकलैंड में हाईकोर्ट में न्यायमूर्ति एडविन वाइली ने अनिवार्य आजीवन कारावास की न्यूनतम अवधि की कैद की सजा सुनाई। इस दौरान उसने किसी तरह की भावना नहीं दिखाई।

घर से दूर मिला महिला का शव
सितंबर 2021 में उसके माउंट अल्बर्ट घर से लगभग एक किलोमीटर दूर 27 वर्षीय लीना झांग हैरप का शव मिलने के दो दिन बाद शर्मा को गिरफ्तार किया गया था। अदालत के दस्तावेजों के अनुसार, हैरप जब सुबह अपने घर से टहलने के लिए निकलीं तो रास्ते में उन्हें शर्मा मिला। उसने लगभग दो घंटे तक उसे प्रताड़ित किया और उसका गला घोंटने से पहले उसके चेहरे पर कई वार किए जिससे उसकी मौत हो गई। अधिकारियों ने कहा कि पीड़ित के शरीर को झाड़ियों में छिपाने के बाद शर्मा वहां से भाग गया। दो दिन बाद पुलिस ने उसे गिरफ्तार कर लिया। एक पैथोलॉजिस्ट ने बताया कि हैरप को उसके सिर पर 13 चोटें और खरोंचें आईं।

सिजोफ्रेनिया से पीड़‍ित है हमलावर
साथ ही मस्तिष्क में अंदरूनी आघात भी हुआ, हालांकि यह घातक नहीं था। सरकारी अभियोजक मैथ्यू नाथन ने अदालत को बताया कि कुछ चोटें इतनी क्रूर थीं कि वे अकेले ही उसकी मृत्यु का कारण बन सकती थीं। उन्होंने शर्मा के सिजोफ्रेनिया से पीड़ित होने की बात स्वीकार की, लेकिन कहा कि हमला यौन इच्छा से प्रेरित था। उन्होंने न्यायाधीश से कहा, इसमें एक हद तक दूसरों को दर्द देकर खुश होने की प्रवृत्ति है। अदालत को बताया गया कि घटना के बमुश्किल 24 घंटे पहले शर्मा ने फुटपाथ पर टहल रही एक अजनबी को भी हिंसक तरीके से अपना शिकार बनाया था, जो किसी तरह खुद को बचाने में कामयाब रही और पास के एक घर से पुलिस को बुला लिया।

क्‍या कहा पीड़‍िता की मां ने

हैरप की मां ने अदालत के फैसले के बाद कहा, कोई भी सजा काफी लंबी नहीं है, और कोई भी न्याय उस जीवन और प्यार की जगह नहीं ले सकता है जो चला गया है। स्टफडॉटकोडॉटएनजेड की रिपोर्ट के अनुसार, शर्मा के वकील जोनाथन हडसन ने कहा कि उनका मुवक्किल सिजोफ्रेनिया से पीड़ित है और आपातकालीन आवास से बेदखल किए जाने के बाद से अपनी कार में रह रहा था।रिपोर्ट में जस्टिस वायली के हवाले से कहा गया है कि शर्मा के अपराध में एक बेहद कमजोर महिला के खिलाफ – जिसे परिवार ने बच्चे जैसा बताया है – भारी क्रूरता शामिल है।



Source link

Continue Reading
Click to comment

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

International

कर्ज चुकाने के लिए सऊदी अरब को परमाणु बम बेचेगा पाकिस्तान! ISI के करीबी ने बनाया खतरनाक प्लान

Published

on

By


Image Source : FILE
कर्ज चुकाने के लिए सऊदी अरब को परमाणु बम बेचेगा पाकिस्तान! ISI के करीबी ने बनाया खतरनाक प्लान

Pakistan News: पाकिस्तान की हालत इतनी कंगाल है कि पैसे के लिए वह कुछ भी कर सकता है। पीएम शहबाज शरीफ कई देशों में कटोरा लेकर पैसे की ‘भीख’ मांगने गए, लेकिन कोई बात नहीं बनी। ऐसे में पाकिस्तान की गुप्तचर एजेंसी आईएसआई के करीब और राजनीतिक विश्लेषक जैद हामिद ने पाकिस्तान की कंगाली दूर करने के लिए पाकिस्तान के परमाणु बम सऊदी अरब को बेचने का खतरनाक फॉर्मूला दिया है। जैद हामिद भारत के खिलाफ जहरीले बयान देते रहे हैं। उन्होंने सुझाव दिया हे कि सऊदी अरब और तुर्की को पाकिस्तान के परमाणु बम बेच देने चाहिए। जैद ने कहा कि यदि हम सऊदी अरब को 5 परमाणु बम बेच दें, तो हमें एक घंटे में 25 अरब डॉलर मिल जाएंगे। तुर्की भी हमें 5 परमाणु बम के बदले 20 अरब डॉलर दे देगा।

जैद हामिद आए दिन परमाणु धमकी देता रहता है। जैद अक्‍सर भारत में गजवा-ए हिंद की धमकी देता रहता है। उसे दुनिया के प्रभावशाली मुसलमान हस्तियों की ‘मुस्लिम 500’ लिस्‍ट में शामिल किया गया था। उसने यह माना कि पाकिस्तान ने परमाणु बम की तकनीक चोरी करके परमाणु बम बनाया है। दुनिया हमें इसे बेचने से नहीं रोक सकती। लाल टोपी पहनने वाले जैद ने कहा कि हमने ने तो एनपीटी पर साइन किए हैं, न ही सीटीबीटी पर हस्ताक्षर किए हैं। जैद ने कहा कि हमने छुपकर परमाणु बम बनाया। लीबिया का कज्‍जाफी और ईरान हमसे परमाणु बम की तकनीक लेना चाहता था।

‘अपनी मिसाइलें भी बेचकर कंगाली दूर करे पाकिस्तान’

जैद हामिद ने कहा कि परमाणु बम बेचने की कोई ठोस नीति बनाई जाए। हमें कर्ज लेने की जरूरत नहीं पड़ेगी। इसकी बजाय हमें अपनी ‘गौरी’ और ‘गजनबी’मिसाइलों को दुनिया को बेचना चाहिए। भारत तो परमाणु मिसाइलें बेच रहा है। पाकिस्तान पर इतना कर्ज है कि यदि चुकानें के लिए दबाव डाला जाएगा तो हमारे पास अपने मुसलमान दोस्त मुल्कों को परमाणु बम बेचने के ​अलावा कोई दूसरा विकल्प नहीं है। 

इसी जैद हामिद को इमरान समर्थकों ने कार से निकालकर पीटा था

पाकिस्‍तान के बड़बोले विश्‍लेषक ने कहा कि पाकिस्‍तान डरता है कि अमेरिका और यूरोप नाराज हो जाएंगे और पाबंदी लगा दी जाएगी। उसने उत्‍तर कोरिया का उदाहरण दिया और दावा किया कि कोई भी देश उस पर पाबंदी नहीं लगा सका। यह वही जैद हामिद हैं जिन्‍हें पिछले दिनों इमरान खान के समर्थकों ने कार से निकालकर पीट दिया था। 

Latest World News

India TV पर हिंदी में ब्रेकिंग न्यूज़ Hindi News देश-विदेश की ताजा खबर, लाइव न्यूज अपडेट और स्‍पेशल स्‍टोरी पढ़ें और अपने आप को रखें अप-टू-डेट। Asia News in Hindi के लिए क्लिक करें विदेश सेक्‍शन





Source link

Continue Reading

International

यूक्रेन युद्ध में तबाह हुआ रूस, क्‍या भारत से वापस खरीद रहा अपने हथियार, आखिर क्‍यों उठ रहे हैं ये सवाल?

Published

on

By


मॉस्‍को: रूस और भारत पिछले छह दशक से मजबूत रणनीतिक साझीदार हैं। लेकिन यूक्रेन की जंग ने इन दोनों के रिश्‍तों पर भी मुश्किलें खड़ी कर दी हैं। अब जो खबरें आ रही हैं उसके मुताबिक रूस हो सकता है भारत से अपने हथियार वापस मांग ले। निक्‍केइ एशिया की एक रिपोर्ट के मुताबिक रूस, म्‍यांमार और भारत से अपने हथियारों को वापस मांगने पर विचार कर रहा है। अगर ऐसा होता है और यह रिपोर्ट सच साबित होती है तो फिर भारत और रूस के रिश्‍ते सबसे कठिन दौर में पहुंच सकते हैं। रूस की तरफ से म्‍यांमार और भारत को भारी संख्‍या में टैंक्‍स और मिसाइलें दी गई हैं। रूस, यूक्रेन में उपयोग के लिए निर्धारित पुराने हथियारों को बेहतर बनाने के लिए फिर से उनका आयात कर सकता है। रिपोर्ट में कहा गया है कि रूस उन्‍हीं देशों से ये हथियार वापस मांगेगा जिनके साथ उसके लंबे समय से सैन्य संबंध हैं।

रूस पर लगा बैन
फरवरी 2022 में यूक्रेन पर हमले के बाद अमेरिका, यूरोपियन यूनियन और जापान ने रूस को संभावित सैन्य प्रयोग वाले सामानों का निर्यात करने से बैन कर दिया था। अमेरिकी रिसर्च कंपनी इम्पोर्टजेनियस, भारत के एक्जिम ट्रेड को मिले आंकड़ों के बाद रूस के टैंकों और मिसाइलों जैसे आयातित हथियारों के रिकॉर्ड की जांच की गई। इसके मुताबिक यूरालवैगनजावॉड (UralVagonZavod), जो रूसी सेना के लिए टैंक बनाने वाली कंपनी है उसने नौ दिसंबर, 2022 को 24 मिलियन डॉलर के साथ म्यांमार सेना से सैन्य उत्पादों का आयात किया।
भारत-रूस के रिश्‍ते के बीच आ गया रुपया, अरबों डॉलर वाले रुपए का कैसे हो प्रयोग, पुतिन हुए परेशान
ब्रिटिश थिंक टैंक मिलिट्री बैलेंस की एक सालाना रिपोर्ट के मुताबिक रूस के पास करीब 5000 टैंक हैं। ब्रसेल्स स्थित थिंक इंटरनेशनल क्राइसिस ग्रुप से जुड़े रूस के विश्लेषक ओलेग इग्नाटोव ने कहा, ‘रूस के पास स्‍टोर में बहुत पुराने टी -72 टैंक हैं, जिन्हें आधुनिकीकरण की जरूरत है। बाद में इन टैंकों को फ्रंट लाइन पर भेजा जा सकता है।’

भारत तीसरा सबसे बड़ा खरीददार
रूस बड़े पैमान पर टी-72 टैंकों का प्रयोग कर रहा है। स्टॉकहोम इंटरनेशनल पीस रिसर्च इंस्टीट्यूट (सिपरी) के मुताबिक रूस हथियारों का दुनिया का तीसरा सबसे बड़ा निर्यातक है। भारत इसका सबसे बड़ा ग्राहक है। पिछले एक दशक में रूस की तरफ से भारत को 35 फीसदी हथियार निर्यात किए गए हैं। सिपरी के मुताबिक भारत के बाद चीन और अल्जीरिया ने रूस से सबसे ज्‍यादा हथियार खरीदे। चीन ने 15 फीसदी तो अल्‍जीरिया ने 10 फीसदी रूसी हथियार अपनी सेनाओं के लिए खरीदे।
चीन की बराबरी नहीं कर सकता भारत, इसलिए भारतीय सेना से हमें खतरा नहीं, चीनी कर्नल का अहंकार तो देख‍िए
मिसाइल के लिए पुर्जे
रूस की एनपीके केबीएम, मशीन-बिल्डिंग डिजाइन ब्यूरो ने भी भारत से कुछ पार्ट्स खरीदे। यह कंपनी मिसाइल के उत्‍पादन से जुड़ी है और भारतीय रक्षा मंत्रालय से 150,000 डॉलर में जमीन से हवा में मार करने वाली मिसाइलों के लिए अगस्‍त और नवंबर 2022 में नाइट-विजनके लिए कुल छह पुर्जें खरीदे। सभी पुर्जे यह सुनिश्चित करते हैं कि मिसाइल रात में और कम रोशनी में भी दुश्‍मन को निशाना बना सके। केबीएम ने फरवरी 2013 में भारत को ये पुर्जे निर्यात किए थे। कहा जा रहा है कि हो सकता है कि रूस ने मरम्मत के लिए पुर्जों का फिर से आयात किया हो। लेकिन इस साल मार्च के अंत तक भारत वापस भेजे जाने वाले सामानों का कोई रिकॉर्ड नहीं था।

क्‍या वाकई मिलेगा सहयोग
न तो केबीएम और न ही भारतीय मंत्रालय की तरफ से इस पर कोई टिप्‍पणी की गई है। पिछले दिनों जापान के हिरोशिमा में आयोजित जी-7 शिखर सम्मेलन में नेताओं ने रूस को मिल रहे सैन्य समर्थन को खत्‍म करने के लिए कहा है। टोक्यो स्थित हितोत्सुबाशी यूनिवर्सिटी में हथियार नियंत्रण पर रिसर्च करने वाले प्रोफेसर नोबुमासा अकियामा ने कहा, ‘लेकिन उन देशों से सहयोग हासिल करना मुश्किल है, जो रूसी निर्मित हथियारों पर भरोसा करते हैं।’



Source link

Continue Reading

International

भारत के इस दोस्त देश को समुद्र में मिला गैस का बड़ा भंडार, इंडिया को भी होगा फायदा!

Published

on

By


Image Source : FILE
भारत के इस दोस्त देश को समुद्र में मिला गैस का बड़ा भंडार, इंडिया को भी होगा फायदा!

Israel News: भारत के दोस्त इजरायल के हाथ ऐसा खजाना लग गया है जिससे उसकी किस्मत बदल सकती है। भारत को भी इसका फायदा मिल सकता है। दरअसल, इजरायल के ऊर्जा और इंफ्रास्‍ट्रक्‍चर मंत्रालय, ग्रीक-ब्रिटिश हाइड्रोकार्बन एक्‍सप्‍लोरेशन और उत्पादन कंपनी एनर्जियन ने ऐलान किया है कि देश में नेचुरल गैस का बड़ा भंडार मिला है। इस आधिकारिक ऐलान में इजरायल की किस्मत बदलती दिख रही है। जिस क्षेत्र पर प्राकृतिक गैस क्षेत्र की खोज हुई उसे कैटलन नाम दिया गया है, जिसे हिब्रू में ‘ओर्का’ कहा जाता है। ऊर्जा मंत्रालय के मुताबि​क यह साल 2015 के बाद से इजरायल द्वारा मान्यता प्राप्त पहली प्राकृतिक गैस खोज है।

यह खोज क्यों है खास?

देश के ऊर्जा मंत्री इजरायल काट्ज ने प्राकृतिक गैस क्षेत्र की खोज के लिए एक औपचारिक पहचान प्रमाण पत्र एनर्जेन के सीईओ मैथ्यू रिगास को सौंपा है। एक अनुमान के नया क्षेत्र करीब 68 बिलियन क्यूबिक मीटर है और तकनीकी तौर पर इसे मई 2022 में तलाशा गया था। इजरायली तट के अन्य क्षेत्रों की तुलना में कैटलन को छोटा माना जाता है। फिर भी इस खोज को काफी अहम करार दिया जा रहा है। 

लंबे समय से की जा रही थी खोज

समुद्र के अंदर कैटलन गैस फील्ड इजरायल के आर्थिक जल क्षेत्र के तहत आता है। इससे अलग एफ्रोडाइट क्षेत्र ज्यादातर साइप्रस के प्रादेशिक जल में है। एनर्जेन ने साल 2016 में भूमध्य सागर में इजरायल के आर्थिक जल में स्थित कारिश और तानिन प्राकृतिक गैस क्षेत्रों का अधिग्रहण किया था। सरकार ने घरेलू ऊर्जा बाजार में प्रतिस्पर्धा बढ़ाने की मांग की थी। करीश क्षेत्र से उत्पादन अक्टूबर 2022 में शुरू हुआ।

2004 में पहली बार मिला था नेचुरल गैस का भंडार

साल 2004 में इजरायल के तट पर पहली बार प्राकृतिक गैस का भंडार मिला था। तब से देश के राजस्व में करीब 20 अरब इजरायली शेकेल यानी 5.35 अरब डॉलर की बढ़ोतरी हुई है। साल 2022 में, इजरायल को अपने अपतटीय गैस क्षेत्रों का दोहन करने वाली कंपनियों से रॉयल्टी में 1.7 अरब शेकेल यानी 45.5 लाख डॉलर हासिल हुए थे। 

Latest World News

India TV पर हिंदी में ब्रेकिंग न्यूज़ Hindi News देश-विदेश की ताजा खबर, लाइव न्यूज अपडेट और स्‍पेशल स्‍टोरी पढ़ें और अपने आप को रखें अप-टू-डेट। Asia News in Hindi के लिए क्लिक करें विदेश सेक्‍शन





Source link

Continue Reading