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यश ढुल, अजिंक्य रहाणे, यशस्वी जायसवाल (left to right)
Highlights
पश्चिम क्षेत्र और उत्तर क्षेत्र ने सेमीफाइनल में बनाई जगह
पश्चिम क्षेत्र के लिए यशस्वी जायसवाल और अजिंक्य रहाणे ने लगाईं डबल सेंचुरी
उत्तर क्षेत्र के लिए यश ढुल ने खेली 193 रनों की बड़ी पारी
Duleep Trophy 2022: युवा सलामी बल्लेबाज यश ढुल के बड़े शतक की मदद से उत्तर क्षेत्र ने पूर्व क्षेत्र के खिलाफ रविवार को ड्रॉ पर समाप्त हुए मैच में पहली पारी की बढ़त के आधार पर दलीप ट्रॉफी क्रिकेट प्रतियोगिता के सेमीफाइनल में प्रवेश कर लिया है। वहीं अन्य क्वार्टरफाइनल मैच में पश्चिम क्षेत्र ने पूर्वोत्तर क्षेत्र पर पहली पारी की बड़ी बढ़त के आधार पर सेमीफाइनल का टिकट पक्का किया। यशस्वी जायसवाल और अजिंक्य रहाणे के दोहरे शतक की बदौलत पश्चिम क्षेत्र ने अंतिम-4 में जगह बनाई।
यश ढुल की बड़ी पारी से उत्तर क्षेत्र को मिली बढ़त
यश ढुल ने उत्तर क्षेत्र के लिए 193 रन बनाए जबकि ध्रुव शोरे (81), हिमांशु राणा (81) और कप्तान मनदीप सिंह (63) ने अर्धशतक जमाए जिससे उत्तर क्षेत्र में आखिरी सात विकेट 66 रन के अंदर गंवाने के बावजूद 545 रन का विशाल स्कोर खड़ा किया और पहली पारी में 148 रन की महत्वपूर्ण बढ़त हासिल की। पूर्व क्षेत्र ने अपनी पहली पारी में 397 रन बनाए थे। पूर्व क्षेत्र की तरफ से बाएं हाथ के स्पिनर शाहबाज अहमद ने 86 रन देकर पांच विकेट लिए । जब मैच ड्रॉ पर समाप्त करने का फैसला किया गया तब पूर्व क्षेत्र ने अपनी दूसरी पारी में तीन विकेट पर 102 रन बनाए थे। उसकी पारी का आकर्षण अभिषेक पोरल (नाबाद 50) का अर्धशतक रहा।
पश्चिम क्षेत्र को विशाल बढ़त से मिली जीत
पश्चिम क्षेत्र ने शनिवार को दूसरी पारी में 64.3 ओवर में पांच विकेट पर 286 रन बनाकर अपनी कुल बढ़त 623 रन की कर ली थी। हरफनमौला अतित सेठ 102 और जयदेव उनादकट एक रन बनाकर खेल रहे थे। टीम के लिए शम्स मुलानी ने भी 97 रनों की पारी खेली। मैच के आखिरी दिन रविवार को दूसरी पारी में 12 रन पर एक विकेट से आगे खेलते हुए टीम ने राहुल त्रिपाठी (24) और हार्दिक तामोरे (24) के विकेट जल्दी-जल्दी गंवा दिए। इसके बाद सेठ और मुलानी ने पांचवें विकेट के लिए 179 रन की साझेदारी की। मुलानी ने 115 गेंद की पारी में 12 चौके लगाए तो वहीं प्रथम श्रेणी में अपना दूसरा शतक जड़ने वाले सेठ ने 101 गेंद की नाबाद पारी में 10 चौके और एक छक्का लगाया।
यशस्वी और रहाणे के दोहरे शतक
इससे पहले पश्चिम क्षेत्र ने मैन ऑफ द मैच यशस्वी जायसवाल (228) और कप्तान अजिंक्य रहाणे (नाबाद 207) के दोहरे शतकीय पारी के अलावा पृथ्वी शॉ की 113 रनों की पारी के दम पर दो विकेट पर 590 रन पर पारी घोषित की थी। पूर्वोत्तर क्षेत्र की पहली पारी 235 रन पर सिमट गई। पश्चिम क्षेत्र ने इसके बाद फॉलोऑन कराने की जगह दूसरी पारी में बल्लेबाजी करने का फैसला किया और अपनी बढ़त को मैच के अंत तक 600 पार पहुंचाया।
नई दिल्ली: कॉमनवेल्थ गेम्स की गोल्ड मेडल विजेता नीतू घंगघस (48 किग्रा) और अनुभवी मुक्केबाज स्वीटी बूरा (81 किग्रा) महिला विश्व मुक्केबाजी चैम्पियनशिप में अलग अलग अंदाज में जीत से विश्व चैम्पियन बनीं और इतिहास में अपना नाम दर्ज करा लिया। नीतू ने शानदार प्रदर्शन करते हुए मंगोलिया की लुतसाईखान अल्तानसेतसेग को 5-0 से हराकर न्यूनतम वजन वर्ग का गोल्ड मेडल अपने नाम किया। स्टेडियम में बीजिंग ओलंपिक की कांस्य पदक विजेता और नीतू के आदर्श विजेंदर सिंह भी मौजूद थे। स्वीटी ने लाइट हेवीवेट वर्ग में चीन की वांग लिना की चुनौती से पार पाते हुए 4-3 से जीत हासिल की और भारत को दोहरी सफलता दिलाई। दिन के पहले मुकाबले में भिवानी की 22 वर्षीय मुक्केबाज नीतू ने आक्रामक शुरूआत की, पहले राउंड में वह 5-0 से आगे थी। दूसरे राउंड में उन्होंने सीधे मुक्के जड़े। अल्तानसेतसेग ने जब जवाबी हमला किया तो इस भारतीय मुक्केबाज ने अपनी प्रतिद्वंद्वी से अच्छा बचाव किया। दोनों मुक्केबाज करीब होकर खेल रही थी और एक दूसरे को जकड़ रही थी जिसमें दूसरे राउंड के अंत में नीतू पर ‘पेनल्टी’ से अंक कांट लिए गए। दूसरे राउंड में मंगोलियाई मुक्केबाज की मजबूत वापसी के बावजूद नीते इसे 3-2 से अपने हक में करने में सफल रही।
फिर अंतिम तीन मिनट में नीतू ने दूर से शुरूआत की और अपनी रणनीति में बदलाव करते हुए फिर करीब से खेलने लगीं जिसमें अल्तानसेतसेग का भी प्रतिद्वंद्वी को जकड़ने के लिए एक अंक काट लिया गया। अंत में भारतीय मुक्केबाज विजेता रहीं।
पहले तीन मुकाबले आरएससी (रैफरी द्वारा मुकाबला रोकना) से जीतने वाली नीतू ने पूरे टूर्नामेंट में दबदबे भरा प्रदर्शन किया। इस जीत से 2022 स्ट्रैंड्जा मेमोरियल में गोल्ड मेडल जीतने वाली नीतू विश्व चैम्पियन खिताब हासिल करने वाली छठी भारतीय मुक्केबाज बनी।
छह बार की चैम्पियन एम सी मैरीकॉम (2002, 2005, 2006, 2008, 2010 और 2018), सरिता देवी (2006), जेनी आर एल (2006), लेखा केसी (2006) और निकहत जरीन (2022) अन्य मुक्केबाज हैं जिन्होंने विश्व खिताब जीते हैं।
भारत के पूर्व बल्लेबाज संजय मांजरेकर ने रॉयल चैलेंजर्स बैंगलोर की तारीफ करते हुए कहा है कि आईपीएल 2023 के लिए टीम के पास सबसे बढ़िया गेंदबाजी आक्रमण है। रॉयल चैलेंजर्स बैंगलोर की टीम अपने अभियान की शुरुआत रविवार (2 अप्रैल) को करेगी, जहां उसका सामना पांच बार चैंपियन मुंबई इंडियंस से होगा। संजय मांजरेकर ने कहा कि आरसीबी के पास गेंदबाजी आक्रमण में अच्छी गहराई है। उन्होंने इसे परफेक्ट तक कह दिया। आरसीबी ने पहले से ही मजबूत गेंदबाजी आक्रमण को मजबूत करने के लिए इंग्लैंड के तेज गेंदबाज रीस टॉपली को 1.90 करोड़ रुपये में खरीदा।
संजय मांजरेकर ने स्टार स्पोर्ट्स से बातचीत में कहा, ”उनकी तेज गेंदबाजी के पास गहराई है। अगर हेजलवुड फिट नहीं है, उनके पास टॉपली है। स्पिन में उनके पास वानिंदु हसरंगा है। उनके पास मोहम्मद सिराज और हर्षल पटेल है। गेंदबाजी परफेक्ट है और मैक्सवेल भी गेंदबाजी कर सकते हैं।”
उन्होंने कहा, ”इस आईपीएल में, मेरे मुताबिक आरसीबी के पास सर्वश्रेष्ठ गेंदबाजी आक्रमण है और यह उनका संयुक्त एक्स-फैक्टर है। रॉयल चैलेंजर्स बैंगलोर की टीम एक बार फिर खिताब जीतने उतरेगी। फ्रेंचाइजी सिर्फ दो बार लीग के फाइनल (2009, 2016) में जगह बना पाई है। हालांकि टीम को आगामी सीजन के शुरू होने से पहले इंग्लैंड के ऑलराउंडर विल जैक्स के रूप में बड़ा झटका लगा है।
विल की जगह टीम ने माइकल ब्रेसवेल को टीम में शामिल किया है। वह एक करोड़ रुपये में टीम से जुड़े हैं। ब्रेसवेल ने भारत के खिलाफ वनडे में शतक ठोककर सबका ध्यान अपनी ओर खींचा था।
Women’s World Championships 2023: भारत की स्टार मुक्केबाज नीतू घनघस (48 किग्रा) ने शनिवार को वर्ल्ड चैंपियनशिप में मंगोलिया की लुत्साइखान अल्तानसेटसेग को हराकर भारत के लिए पहला स्वर्ण पदक जीता। कॉमनवेल्थ खेलों की स्वर्ण पदक विजेता नीतू घनघस वर्ल्ड चैंपियन बनने वाली छठी भारतीय मुक्केबाज बन गई हैं। नीतू घनघस ने शानदार प्रदर्शन करते हुए अल्तानसेत्सेग को 5-0 से हराया और खचाखच भरी भीड़ के सामने बिना एक भी अंक गंवाए खिताब अपने नाम किया। नीतू ने आक्रामक शुरुआत की जिस कारण वह यह खिताब अपने नाम कर सकीं। उन्होंने कजाकिस्तान की एशियाई चैंपियन अलुआ बाल्किबेकोवा को 5-2 से हराकर फाइनल में जगह बनाई थी।
ये खिलाड़ी जीत चुके हैं गोल्ड
मैरी कॉम (2002, 2005, 2006, 2008, 2010 और 2018), सरिता देवी (2006), जेनी आरएल (2006), लेखा केसी (2006), और निकहत ज़रीन (2022) के बाद वह ऐसा करने वाली छठी भारतीय खिलाड़ी बनी हैं। नीतू के साथ, भारत के तीन अन्य स्टार मुक्केबाजों ने भी इस आयोजन के फाइनल में जगह बनाई है। निकहत जरीन (50 किग्रा) ने रियो ओलंपिक की कांस्य पदक विजेता कोलंबिया की इंग्रिट वालेंसिया को 5-0 से हराया और लवलीना बोरगोहेन (75 किग्रा) ने चीन की ली कियान को 4-1 से हराकर फाइनल में प्रवेश किया। जबकि स्वीटी बूरा (81 किग्रा) ऑस्ट्रेलिया की सू-एम्मा ग्रीनट्री को 4-3 से हराकर अपने दूसरे वर्ल्ड चैंपियनशिप में पहुंची।
भारत के पास 3 अन्य गोल्ड जीतने का मौका
फाइनल में निकहत का सामना दो बार की एशियाई चैंपियन वियतनाम की गुयेन थी टैम से होगा। रविवार को फाइनल में लवलीना का सामना ऑस्ट्रेलिया की कैटलिन पार्कर से होगा। वहीं स्वीटी का सामना चीन की वांग लीना से होगा। कुल मिलाकर देखा जाए तो भारत अभी भी इस टूर्नामेंट में तीन और स्वर्ण पदक अरने नाम कर सकता है। भारत की बेटियों ने हमेशा से इस बड़े टूर्नामेंट में अपने देश का नाम ऊंचा किया है।
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