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मणिपुर में फिर तनाव का माहौल
इंफाल: मणिपुर में महिलाओं को निर्वस्त्र करके घुमाने का वीडियो वायरल होने के बाद मामला अभी शांत भी नहीं हुआ था कि राज्य में फिर से हालात बिगड़ रहे हैं। जानकारी के अनुसार, मणिपुर के चुराचांदपुर इलाके में दो समुदाय के लोगों के बीच फायरिंग हो रही है। जानकारी के अनुसार, दोनों समुदाय की झड़प के बीच आगजनी की जा रही है। इस वजह से इलाके में दहशत का माहौल है।
घटनास्थल पर असम राइफल्स के जवान भी मौजूद
फायरिंग की घटना के बीच मौके पर असम राइफल्स के जवान भी मौजूद हैं। शांति कायम करने की कोशिशें की जा रही हैं पर तनाव का माहौल अभी भी कायम है। आर्मी के जवान लगातार अनाउंसमेंट कर रहे हैं पर दोनों समुदाय के लोग मानने को तैयार नहीं है। दोनों तरफ से लोग एक दूसरे पर गोलियां चला रहे हैं। इसके साथ ही नेशनल हाइवे पर भी फायरिंग की जा रही है। जानकारी के अनुसार, जहां फायरिंग हो रही है, उस इलाके को सुरक्षाबलों ने बफर जोन बनाया हुआ है लेकिन आज मैथी और कुकी दोनो समुदायों के लोग आमने सामने आ गए।
वायरल वीडियो मामले में 6 आरोपी गिरफ्तार
वहीं इससे पहले मणिपुर में महिलाओं को निर्वस्त्र घुमाने के मामले में छठा आरोपी गिरफ्तार कर लिया गया है। पुलिस ने बताया कि कांगपोकपी जिले में चार मई को दो आदिवासी महिलाओं को निर्वस्त्र करके घुमाने के संबंध में छठे व्यक्ति को गिरफ्तार कर लिया है। एक आरोपी को शानिवार दिन में गिरफ्तार किया गया था। पुलिस ने बताया है कि 6 आरोपियों में से एक आरोपी नाबालिग भी है। वहीं इससे पहले गिरफ्तार किए गए चार आरोपियों को शुक्रवार को 11 दिन की पुलिस हिरासत में भेज दिया गया था।
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खुदकुशी करने वाले शख्स की पहचान सुदर्शन देवराय के रूप में की है। देवराय ने नांदेड़ जिले की हिमायतनगर तहसील में रविवार आधी रात के बाद कथित तौर पर खुदकुशी कर ली।
कनाडा और भारत के बीच कूटनीतिक रिश्ते बुरे दौर में जाते हुए दिखाई दे रहे हैं। कनाडाई पीएम जस्टिन ट्रूडो द्वारा भारत पर अनर्गल आरोपों के बाद कनाडा ने भारतीय राजनयिक को बर्खास्त कर दिया था। अब इस कदम के जवाब में भारत सरकार ने भी कनाडा के खिलाफ कड़ा रुख अपनाया है। भारत सरकार ने भी एक वरिष्ठ कनाडाई राजनयिक को बर्खास्त कर दिया है और उन्हें 5 दिनों में देश छोड़ने का आदेश दिया है।
उच्चायुक्त तलब
कनाडाई पीएम जस्टिन ट्रूडो के भारत विरोधी कदमों के बाद भारत सरकार के विदेश मंत्रालय ने विरोध जताने के लिए भारत में कनाडा के उच्चायुक्त कैमरून मैकेई को तलब किया था। ऐसा माना जा रहा था कि कनाडा को जवाब देने के लिए भारत सरकार भी कड़ा कदम उठा सकती है।
विदेश मंत्रालय का बयान
भारतीय विदेश मंत्रालय ने जारी किए गए बयान में कहा है कि भारत में कनाडा के उच्चायुक्त कैमरून मैकेई को आज तलब किया गया। उन्हें भारत में रह रहे एक वरिष्ठ कनाडाई राजनयिक को निष्कासित करने के भारत सरकार के फैसले के बारे में सूचित किया गया। संबंधित राजनयिक को अगले पांच दिनों के भीतर भारत छोड़ने के लिए कहा गया है। विदेश मंत्रालय ने कहा कि यह निर्णय हमारे आंतरिक मामलों में कनाडाई राजनयिकों के हस्तक्षेप और भारत विरोधी गतिविधियों में उनकी भागीदारी पर भारत सरकार की बढ़ती चिंता को दर्शाता है।
क्यों तल्ख हुए रिश्ते?
G-20 समिट में फटकार खाने के बाद कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो भारत विरोधी कदमों में जुट गए हैं। ट्रू़डो ने खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या का कनेक्शन भारत से जोड़ते हुए भारत के एक राजनयिक को निकाल दिया था। हालांकि, भारत सरकार ने कनाडाई पीएम के आरोपों को बेबुनियाद और आधारहीन करार दिया है। भारत ने साथ ही कनाडा से आतंकी तत्वों पर कार्रवाई करने की मांग की है। भारत ने कहा है कि इस तरह के बयान खालिस्तानियों से ध्यान हटाने के लिए दिए गए हैं।
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महिला आरक्षण बिल को लेकर स्थिति लगभग साफ होती नजर आ रही है। खबर है कि सरकार मंगलवार को ही संसद में बिल पेश कर सकती है। हालांकि, इसे लेकर आधिकारिक तौर पर कुछ नहीं कहा गया है। सोमवार को कैबिनेट बैठक में विधेयक पर मुहर लगा दी गई थी। इधर, महिला आरक्षण का श्रेय लेने के लिए कांग्रेस और भारतीय जनता पार्टी में होड़ लगती नजर आ रही है।
खास बात है कि मंगलवार से ही विशेष सत्र नए संसद भवन में पहुंच रहा है। ऐसे में अगर सरकार महिला आरक्षण बिल आज पेश कर देती है, तो नई संसद में पेश होने वाला यह पहला बिल होगा। हालांकि, यह बिल करीब 27 सालों से लंबित है और कांग्रेस की अगुवाई वाली UPA सरकार ने साल 2010 में इसे राज्यसभा में पास करा लिया था।